राजसमंद में तालाब में डूबने से दादी और पोता-पोती की मौत हो गई। पोता-पोती नहाने के लिए तालाब में उतरे थे। अचानक वे डूबने लगे। उन्हें बचाने के लिए दादी भी तालाब में कूद गई। तैरना नहीं आने के कारण तीनों डूब गए। हादसा देवगढ़ थाना इलाके में मंडावर ग्राम पंचायत के ढाक का चौड़ा गांव में रविवार सुबह करीब 10 बजे हुआ।
थाना इंचार्ज अनिल विश्नोई ने बताया- हादसे में पूर्व वार्डपंच भंवरी देवी (60) पत्नी राजूराम भील और उनके पोते हिम्मतराम (11) पुत्र तुलसाराम व पोती मीना (10) पुत्री लक्ष्मण राम की मौत हो गई। हिम्मतराम और मीना चचेरे भाई-बहन थे। भंवरी देवी उनकी दादी थी। पोस्टमॉर्टम के बाद तीनों के शव परिजनों को सुपुर्द कर दिए।

नहाने के लिए तालाब में उतरे थे बच्चे ढाक का चौड़ा गांव में रविवार सुबह करीब 9 बजे भंवरी देवी पोते हिम्मतराम और पोती मीना को लेकर बकरियां चराने जंगल में गई थी। इस दौरान हिम्मतराम और मीना गांव के तालाब शिल सागर में नहाने के लिए उतरे। दोनों बच्चे अचानक गहरे पानी में चले गए। तैरना नहीं आने के कारण दोनों डूबने लगे।
दोनों बच्चों को डूबता देख दादी भंवरी देवी उन्हें बचाने के लिए पानी में कूद गईं। भंवरी देवी को भी तैरना नहीं आता था। पानी गहरा होने के कारण वह भी डूब गईं।
गांव के दूसरे बच्चों ने तालाब में भंवरी देवी की बॉडी देखी। उन्होंने मंडावर प्रशासक प्यारी देवी को इसकी सूचना दी। प्यारी देवी ने बग्गड़ पुलिस चौकी पर हादसे की सूचना दी। इसके बाद प्यारी देवी और देवगढ़ पुलिस थाना इंचार्ज अनिल विश्नोई जाब्ते के साथ मौके पर पहुंचे।
ग्रामीणों की मदद से पोता-पोती और दादी को तालाब से बाहर निकाला। देवगढ़ के सरकारी हॉस्पिटल में पहुंचाया गया। जहां डॉक्टर ने तीनों को मृत घोषित कर दिया।

जानकारी के अनुसार, हिम्मतराम और मीना के माता-पिता मजदूरी करते हैं। घर की आर्थिक हालत खराब है। हिम्मतराम गांव के सरकारी स्कूल में पढ़ता है, जबकि मीना का अभी एडमिशन नहीं हुआ था।
